धरती कई करोड़ साल पूरानी है। और अब तक इस धरती पर कई प्रकार के जीवों का विकास हुआ है। जिसमे कई सारे विलुप्त भी हो गए । निअंडरथल मानव होमो सिपियंस का ही एक सदस्य था ।
जर्मनी की निअंडर घाटी के अंदर मिले सबूतों के आधार पर इस मानव जाति को निअंडरथल मानव का नाम दिया गया । इस मानव का कद आम मानव जाति से छोटा होता था । यही कोई 4 से 5 फिट के आस पास यह मानव अफ्रिका ऐशिया यूरोप आदि देशों के अंदर रहते थे । यह 1 लाख 60 हजार साल पहले विलुप्त हो गया था । इस लेख के अंदर हम निअंडरथल मानव के बारे मे विस्तार से जानेंगे ।
पहला निअंडरथल जिवाश्म 1829 के अंदर मिला था । लेकिन 19 वीं शताब्दी के अंदर बहुत सारे ऐसे जिवाश्म मिले । इन जिवाश्म के अंदर बच्चों बूढों और वयस्क व्यक्तियों के जिवाश्म शामिल थे ।
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प्रमुख कंकाल खोजें
- फ़्रांस के ला फेरासी में 1 9 0 9 में एक 50,000 साल पुरानी खोपड़ी की खोज की गई। यह खोपड़ी एक बुजुर्ग की थी जिसके अंदर निअंडरथल मानव होने की कई विशेषताएं मिलती हैं।
- इज़राइल में अमदु में 1 9 61 में हिसाशी सुजुकी ने 45,000 वर्षीय खोपड़ी की खोज की थी। यह व्यक्ति 180 सेंटीमीटर लंबा था और किसी भी जीवाश्म मानव (1740 घन सेंटीमीटर) का सबसे बड़ा मस्तिष्क था।
- फ्रांस में ला चैपल-औक्स-संतों में 1 9 08 में 50,000 वर्षीय खोपड़ी की खोज हुई इस पुरुष व्यक्ति ने अपने ज्यादातर दाँत खो दिए थे और उनके कंकाल में एक बड़ी बीमारी होने के सबूत भी मिले हैं। रोगी को गठिया था ।
- एक 45,000 साल पुरानी स्केलकैप 1856 में फेल्डहॉफर ग्रॉटो, निएनर वैली, जर्मनी में खोजी गई। यह ‘प्रकार नमूना’ या इस प्रजाति का आधिकारिक प्रतिनिधि है।
अन्य प्रजातियों के साथ रिश्ते
जब कि हम निएंडरथल्स से बारीकी से संबंधित हैं, वे हमारे प्रत्यक्ष पूर्वज नहीं हैं जीवाश्म रिकॉर्ड और आनुवंशिक आंकड़ों के प्रमाण से पता चलता है कि वे एक अलग प्रजातियां हैं जो कि एक क्रम के रूप मे विकसित हुई हैं। कुछ जिवाश्म ऐसे भी मिले हैं जोकि 3 लाख साल पूराने है ऐसा माना जाता है इन्ही कि वजह से निअंडरथल का विकास हुआ होगा ।
प्रमुख शारीरिक विशेषताएं
निअंडरथल आज के इंसान से काफी अलग प्रकार के थे । उनका कंकाल आधुनिक मानवों की तुलना मे अधिक मजबूत था । पुरुषों की औसत ऊंचाई लगभग 168 सेंटीमीटर थी जबकि मादाओं का आकार 156 सेंटीमीटर था। मस्तिष्क का आकार औसत आधुनिक मानव मस्तिष्क से बड़ा था और औसतन 1500 घन सेंटीमीटर था यदि इनके शरीर की बात की जाए तो वह आधुनिक मानवों से काफी अधिक मजबूत था । इनके जबड़े आज के इंसान के मुकाबले काफी बड़े थे । और दांत शिकार करने के लिए तेज और बड़े थे ।
क्या खाते थे निअंडरथल
यह हमेशा से ही शोध का विषय रहा है। इस बात पर रिसर्चर एक सहमत नहीं हैं। कुछ रिसर्च कर्ताओं का मानना है कि निअंडरथल मांस भी खाते थे । क्रोएशिया में क्रापीना गुफा की साइट पर उनके मांस खाने के सबूत भी मिले हैं। हालांकि वे शाकहारी भोजन का प्रयोग भी करते थे ।
क्या काम आती थी निअंडरथल की बड़ी आंखे
अनेक शोध यह बताते हैं कि निअंडरथल मानवों के पास आंखे काफी बड़ी थी जोकि दूर तक देखने के लिए सक्षम होती थी । जोकि धुंधले दिनों के अंदर आसानी से देख सकती थी । लेकिन यदि इन मानवों के दिमाग की बात करें तो इनका दिमाग इतना विकसित नहीं था । जबकि होमोसिपियंस मानवों का दिमाग काफी विकसित था ।
निअंडरथल मानवों की आंखे बड़ी होने की वजह से दिमाग का वह हिस्सा विकसित नहीं हो पाया जोकि सोच से संबंधित था ।
निअंडरथल मानव का हडियों से बना घर मिला
कुछ समय पहले यह माना जाता था कि निअंडरथल केवल घूमकेतु थे । सन 1984 के अंदर यूक्रेन के अंदर खोजे गए एक हडियों के घर ने इस धारणा को गलत साबित कर दिया । वहां पर हडियों से बना एक घर मिला है। जिसके अंदर 25 चुल्हे बने हुए हैं।
और उनके अंदर राख भी मिली है। जिससे यह साबित होता है की निअंडरथल भी एक समूह के अंदर रहते थे । और उनका भी अपना घर था । उनके कर मैमथ की हडियों से बनाए गए थे । ताकि वे तेज ठंड से बच सकें ।
आधुनिक इंसानों के DNA के अंदर 2.5 प्रतिशत हिस्सा निअंडरथल इंसानों के DNA से मेल खाता है। और बाकी का हिस्सा हमारे करीबी चिंपाजी से मेल खाता है। यह अफ्रिका के अंदर विकसित हुए उसके बाद यूरोप के अंदर चले गए । और फिर यह होमोसिपियंस से 4 साल तक अलग रहे ।
निअंडरथल विलुप्त कैसे हो गए।
वैसे निअंडरथल मानवों के विलुप्त होने का राज अभी भी रहस्य बना हुआ है। वैज्ञानिक अभी भी इस बात को लेकर एक मत नहीं हैं। कुछ वैज्ञानिक अटकले लगा रहे हैं।
ज्वालामुखी की वजह से
लगभग 40 हजार साल पहले ज्वाला मुखी का विस्फोट होने की वजह से भी निअंडरथल मानव विलुप्त होने लगे थे । हालांकि इस वजह से अधिक निअंडरथल मानव विलुप्त नहीं हुए होंगे ।
अपनी बड़ी आंखों की वजह से
कुछ वैज्ञानिक इस बात का अनुमान लगा रहे हैं कि अपनी बड़ी आंखों की वजह से निअंडरथल विलुप्त हो गए थे । उनकी बड़ी आंखों की वजह से उनका दिमाग का सोच वाला हिस्सा अधिक विकसित नहीं हो पाया और जिसकी वजह से वे प्राक्रतिक परिर्वतन को झेल नहीं पाए और विलुप्त हो गए । उनके दिमाग के अधिक विकसित नहीं होने की वजह से वे शरदी से नहीं बच पाएं होगे और विलुप्त हो गए होंगे ।
भोजन के स्त्रोत खत्म होने के वजह से
निअंडरथल मानव के खत्म हो जाने की वजह उनको भोजन नहीं मिलना भी हो सकता है। जब काफी साल पहले धरती पर काफी बदलाव हुए होंगे तो उनके लिए भोजन की कमी हुई होगी जिसकी वजह से धीरे धीरे उनकी मौत हो गई।
होमो सिपियंस के साथ मुठ भेड की वजह से
कहा जाता है की होमो और निअंडरथल दोनों काफी सालों पहले अलग हो गए थे । दोनों प्रजातियों के अंदर मुठ भेड भी हुई होगी इस वजह से निअंडरथल का पतन शूरू हो गया होगा । हालांकि यह सही सही बता पाना कठिन है कि निअंडरथल का पतन कैसे हुआ।
This post was last modified on November 1, 2018