झांसी के मउरानीपुर के रेवन गांव के अंदर कुतिया देवी का मंदिर हैं। यहां का इलाका सूखे की समस्या से हमेशा ही परेशान रहा है।लोग भयंकर सूखे से बचने के लिए इस मंदिर पर दुआ करते हैं। यहां पर पूजा भी होती है। और भजन भी गाये जाते हैं। आप चित्र के अंदर छोटा सा मंदिर देख रहे हैं। इसके अंदर एक
कुतिया की मूर्ति स्थापित है। जिसे अब यहां के लोग देवता मानते हैं। लोगों का विश्वास है कि इस मंदिर पर पूजा करने से कुतिया देवी उनकी मनौकामना को पूरा करती है। उनके संकट को दूर कर देती है। दिवाली के दिन यहां पर खास पूजा होती है।
क्या है प्राचिन मान्यता
इस मंदिर के साथ एक प्राचीन मान्यता भी जुड़ी हुई है।
रेवन और ककवारा गांव के बीच यह मंदिर बना हुआ है। एक प्राचीन कहानी के अनुसार एक कुतिया दोनों गांवों मे जिसमे भी प्रोग्राम होता खाना खाने पहुंच जाती । एक बार किसी वजह से उसे दोनों ही गांवो से खाना नहीं मिल सका और इसलिये उसने दोनों गांवों के बीच मे ही दम तोड़ दिया ।
कुतिया ने भूख प्यास से वहां पर अपनी जानदी थी। गांव वालों ने उसे वहीं पर दफनादिया । कुछ गांव वालों का विश्वास है कि कुछ दिनों बाद वहां अपने आप ही एक पत्थर पैदा हो गया । और गांव वालो ने इस चमत्कार को देखकर वहां एक मंदिर बनाकर उसमे कुतिया की मूर्ति लगवादी । लोगों का ऐसा विश्वास है कि यहां मांगने पर हर मूराद पूरी होती है।