दोस्तों हम अपनी दिमाग की memory का हर समय प्रयोग करते रहते हैं। हमारी memory कैसे काम करती है कितने प्रकार की होती है। इसके बारे मे आपको थोड़ा बहुत पता होना चाहिये ताकि आप अपनी समस्याओं को और बेहतर ढंग से हल कर सकें । वैसे तो हमारे दिमाग की memory कई प्रकार की होती है किंतु आपको इस बारे मे पूरी डिटेल से जानने की आवश्यकता नहीं हैं क्योंकि ऐसा करने से यह लेख उबाउ हो जायेगा ।यदि आप इसके बारे मे अधिक detail से जानना चाह रहे हैं तो आप किसी book की मदद ले सकते हैं।
यदि आपको यह सामान्य बात का पता है कि हमारी memory कितने प्रकार की होती है और यह कैसे काम करती है तो आपको जैसे study करने मे और यादास्त बढ़ाने मे बहुत अधिक मदद मिलती है।
mind की memory उसी तरह से होती है जैसे आपका मेमोरी कार्ड होता है यही भी मैमोरी कार्ड की तरह सूचनाओं को स्टोर करती है। मैमोरी कार्ड से तो हम कुछ भी delete कर सकते हैं किंतु यहां आप अपनी मर्जी से कुछ हटा नहीं सकते ।
mind की memory तीन प्रकार की होती है।
1.sensory memory
2.short term memory
3.long term memory
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क्या होती है short term memory और यह कैसे काम करती है ?
हमारे दिमाग की यह मैमोरी कुछ समय 10 sec के आस पास तक ही कोई सूचना को स्टोर कर सकती है। उसके बाद यह सूचना या तो यहां से हट जाती है या फिर दूसरी प्रकार की memory के अंदर चली जाती है।
जैसे आपने किसी व्यक्ति से उसका मोबाईल नम्बर पूछा आपको वे नम्बर कुछ समय तक याद होगये । किंतु एक बार आपने उन नम्बरों को अपने मोबाईल मे फिड करने के बाद दूबारा याद करने की कोशिश की लेकिन अब आप उनको सही सही नहीं याद कर पाये।
और भी बहुत बार होता है जब चीजों को चंद सैंकिड के लिये याद रखते हैं। उसके बाद उन्हें भूल जाते हैं। इन चंद sec के अंदर यह सूचना आपकी के दिमाग की sensory memoryके अंदर होती है। इसके अंदर सूचना कुछ समय के लिये स्टोर होती है।
एक मनोवैज्ञानिक ने इसे जानने के लिये एक प्रयोग किया उसने । अग्रेजी के कुछ words कुछ व्यक्तियों को याद करने के लिये दिये यह अक्सर उन्हें एक क्रम मे याद करने थे ।
कुछ समय बाद ही उनसे पूछा गया तो वे 5 -7 words से अधिक याद नहीं रख पाये । इसका मतलब होता है िक इस memory मे हम अधिक items एक साथ स्टोर नहीं कर सकते और अधिक लम्बे समय के लिये भी सूचना को स्टोर करके नहीं रखा जा सकता ।
यदि आपने गौर किया हो तो कई बार हम किसी खूबसूरत वस्तु को देखते हैं तो उस वस्त के हट जानें के बाद भी हमारी आखों मे उसका चित्र बना रहता है कुछ समय के लिये । यह सूचना हमारी जांच memory मे स्टोर होने की वजह से होता है।
Tip चूकिं sensory memory मे अधिक देर तक सूचना स्टोर नहीं होती है इसलिये । हमेशा अपनी आवश्यक बातों को कहीं लिख कर रखें । जैसे आपने कहीं से कुछ जानकारी ली और यह सोच कर वहां से आगये कि जानकारी याद है किंतु आप भूल गये तो आपको फिर से परेशान होनापड़ेगा ।
इस के अंदर सूचना delete होती रहती है इसलिये हो हो सके तो आप हमेशा जरूरी सूचनाओं को short term memory के अंदर भेजने की कोशिश करनी चाहिये ऐसा आप अधिक ध्यान देकर कर सकते हैं।
Short term memory
इसके अंदर सूचनाओं को अधिकतम 20 –30 सेकिंड के लिये सक्रिय अवस्था के किया जा सकता हैं इसमे वेसी सूचनायें store होती हैं जिनपर हम ध्यान देते हैं। जैसे हम किसी से बात कर रहें हैं उसने कुछ बताया उसपर हमने कुछ ध्यान दिया वह बात हमे कुछ समय तक याद रही उसके बाद उसे भूल गये ।
आपकी यह memory कमजोर होती है। यदि आपने किसी सूचना पर ध्यान नहीं दिया तो आप दूबारा उसे रिहर्सल नहीं कर सकते हैं। यहां पर सूचनाओं को ज्योंका त्यों ही संचित नहीं किया जाता है। बल्कि उनको जोड़कर संचित किया जा सकता है। जैसे c,b और i को किसी व्यक्ति को store करने को कहा जाये तो वह यहां पर उसे cbi संचित कर सकता है। इसका फायदा होता है कि हम अधिक चीजें याद रखपाते हैं।
Tip –वेसे तो इसकी storage कैपिसिटी एक समय मे 7 – 5 आईटम को स्टोर कर सकते हैं किंतु चुकिंग, एक तरह की ऐसी प्रक्रिया है जिसमे सूचनाओं को जोड़ कर स्टोर किया जाता हो ।
चुकिंगसे आप अधिक सूचना को स्टोर कर सकते हैं। इसलिये जटिल चीजों को याद करने के लिये चूकिंग का प्रयोग करें जैसे आप रा से राजकोट
म मामसर
स सागर
इसी को चुकिंग कहते हैं।
–इस मैमोरी की खास बात होती हे कि हम यहां से जल्दी से किसी सुचना को याद कर सकते हैं।
आपके की रोज काम आने वाली सूचनायें जैसे आपके फोन नम्बर आपके घर के नम्बर आपकी घर की गली यानि इसके अंदर ऐसी सूचना होती हैं जिनको आप याद कर सकते हैं जब आप चाहे तभी ।
Long term memory
यह एक ऐसी memory हे जहां पर हम अपनी सूचनाओं को लम्बे समय तक स्टोर करके रख सकते हैं। इसमे कितने समय तक कोई सूचना स्टोर होती है। यह कोई निश्चित नहींहोता है।इसमे हम अपने पूरें जीवनकाल तक भी कुछ सूचनाओं कों संचित करके रख सकते हैं। इसके अंदर हर तरह की सूचनाएं संचित नहीं होती हैं वरन कुछ खास तरह की सूचना संचित होती हैं।
और इसके अंदर सारी सूचनाएं एक साथ हीं संचित होती हैं।
Long term memory के अंदर visual सूचना बहुत ही बढ़िया ढंग से store होती है एक प्रयोग मे कुछ व्यक्तियों को विडियों दिखाकर इस स्मर्ति की जांच की गई तो उसमे अधिक accuracy आई। इसका अर्थ हुआ कि आप अपनी पढ़ाई से जुड़े विडियों आदि का प्रयोग करेंगें तो आपको चीजे याद करने मे और अधिक आसानी होगी ।
ऐसे काम करती है आपके दिमाग की memory
आप memory के बारे मे जान ही चुके हैं ।अब दिमाग की memory के कार्य को समझने के लिये आप नीचे चित्र पर थोड़ा गौर करें ।
दिमाग की memory की कार्य प्रणाली को समझना बहुत आसान है। मान लिजिये आपके पापा का नाम आपने सुना तो वह words पहले sensory memory के अंदर आयेगा उसके बाद उसे short term memory के अंदर भेज दिया जायेगा ।
यदि आप किसी नये मोबाईल नम्बर को याद कर रहें हैं तो चंद सेंकिड आप उनको याद रख पाते हैं उसके बाद यदि आपने सही से याद नहीं किया तो वे short term memory मे नहीं पहुंच पाते और delete हो जाते हैं। short term memory मे भी कुछ सूचना delete हो जाती है।
Long term memory मे सूचना अधिक स्थाई होती है। किंतु हर सूचना यहां पर पहुंच नहीं पाती है अधिकतर वे सुचनाये ही यहां होती हैं जो दिमाग पर अधिक प्रभाव डालती हैं। और कई बार यहां से recall करना भी आसान नहीं होता है। recall का मतलब यानि बातों को अपने मन मे दूबारा लाना । जैसे आप का फोन आप यह बोलोगे तो फोन से जुडे डेटा आपके मन मे आयेंगे इसे ही recall कहते हैं।
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