कितना होता है हमारी आत्मा का वजन
10 अप्रेल 1901 के अंदर डोरचेस्टर के अंदर एक अजीब तरह का प्रयोग किया गया । डॉ डंकन ने आत्मा के वजन को जानने के लिये । पांच लोगों का…
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आपने ब्रा तो अनेक देखी होगी किंतु अब वैज्ञानिकों ने एक खास प्रकार की ब्रा तैयार की है कि है जो महिलाओं के स्तन के आकार को बढ़ाने का काम…
जब भी हम दिमाग से कोई कार्य करते हैं। या फिर दिमाग से कोई भी कार्य नहीं करते तो भी हमारे दिमाग से कोई न कोई तरंगे निकलती रहती हैं। इन तरंगों की cycle अलग अलग प्रकार की होती है। जोकि दिमागी स्थिति के अनुसार बदलती रहती है। जैसे की कोई व्यक्ति रहा है तो उसके दिमाग से डेल्टा तरंगे पैदा होगी । यदि वह विचारशील होगा तो उसके दिमाग से बीटा तरंग पैदा होगी । इन तरंगों का विश्लेषण कर हम आसानी से पता लगा सकते हैं कि व्यक्ति दिमाग अब किस स्थिति के अंदर काम कर रहा है। किंतू इनसे यह पता नहीं लगा सकते कि व्यक्ति क्या सोच रहा है। दिमागी तरंगों को 4 भागों के अंदर बांटा जा सकता है। 1. डेल्टा यह हमारे दिमाग से तब पैदा होती है जब वह अतिगहन निंद्रा के अंदर होता है। इसकी frequency 0.5 to 4 c/s होती है। योगा के द्वारा भी इसे प्राप्त किया जा सकता है। 2. थीटा व्यक्ति का दिमाग जब कल्पना के अंदर होता है तब यह तरंगे उससे पैदा होती हैं। इसकी frequency 4 to 8 c/s होती है। 3 .अल्फा यह दिमाग की शांत स्थिति को बताता है। यानि जब हमारा दिमाग शांत होता है तो यह तरंगे उससे उत्सर्जित होती हैं। इस दसा के अंदर सीखने की क्षमता बढ़ जाती है। इसकी frequency 8 to 12 c/s होती है। 4.बीटा यह तरंगे तब पैदा होती हैं जब हम सोचते हैं। निर्णय लेते हैं। तर्क करते हैं। इसकी frequency 12 to 25 c/s होती है।