रामायण पढ़ने के फायदे ramayan padhne ke labh के बारे मे हम आपको यहां पर बताने वाले हैं।महर्षि वाल्मीकि ने सबसे पहले रामायण को लिखा था । और रामायण के अंदर भगवान राम और माता जानकी के जीवन के बारे मे वर्णन मिलता है। आज रामायण पर अनेक फिल्में और टीवी सिरियल बन चुके हैं। महर्षि वाल्मीकि रामायण आने के बाद इसके अंदर बहुत सारी आलतू फालतू बातों को भी कुछ लोगों ने जोड़ दिया जोकि मूल रामायण का हिस्सा नहीं है। जैसा कि आपको पता ही है । खैर यदि आपके घर के अंदर भी रामायण रखी हुई है , और आप इसको पढ़ते हैं , तो इससे आपको कई तरह के फायदे होते हैं। तो आज हम बात करने वाले हैं , कि रामायण पढ़ने से क्या क्या फायदे हो सकते हैं ?
यदि आप अपने घर के अंदर रामायण रखते हैं , तो आपको मूल रामायण को ही रखना चाहिए । बाकि दूसरी किसी तरह की रामायण को नहीं रखना चाहिए । ताकि आपको चीजों के बारे मे सही सही पता चल सकें । और आप भ्रमित नहीं हो सकें । हालांकि रामायण की घटना को रियल माना गया है। और यह कहा जाता है , कि आज से हजारों साल पहले राजा राम हुआ करते थे , और उनको भगवान का अवतरा भी माना जाता है। राम मंदिर को भी अभी बनाया गया है। उनके अदभुत तालमेल के लिए उनको हमेशा याद किया जाता रहेगा ।
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रामायण पढ़ने के फायदे आपके दुख कम हो जाते हैं ramayan padhne ke labh
हम लोग राम को भगवान मानते हैं , और जब देखते हैं , कि राक्षस लोग भगवान को भी परेशान करने से नहीं चुके हैं। उनके जीवन मे भी बहुत सारे दुख आते हैं , तो हमें अपने आप ही यह समझ आ जाता है , कि जब इस संसार मे भगवान को भी दुखों का सामना करना पड़ता है , तो हम किस खेत की मूली है। कहने का मतलब यह है कि रामायण हमें दुख सहने की क्षमता एक तरह से प्रदान करने का काम करती है। फिर हम यह नहीं सोच पाते हैं , कि दुनिया मे हम ही दुखी हैं। वरन बड़े बड़े लोग भी दुखी रहते हैं। आप इस बात को समझें।
हमें अपने पिता की कद्र करनी चाहिए ramayan padhne ke labh
दोस्तों रामायण पढ़ने से हमे यह भी सीखाती है , कि हमें अपने पिता की कद्र करनी चाहिए । उनके वचनों को निभाने के लिए उनका सम्मान करना चाहिए। राजा दशरत ने ही राम को वन मे जाने का वचन दिया था । और समय आने के बाद दशरत ने राम को बताया था । और राम ने अपने पिता के वचन को पूरा करने के लिए वन मे 14 वर्ष तक चले गए थे । तो यह एक तरह से संदेश है , कि अपने पिता की हमें हमेशा कद्र करनी चाहिए । जैसा कि आजकल के नौजवान छोटी छोटी बात पर अपने पिता का अपमान करने से नहीं चुकते हैं।
रामायण का पाठ करने से मन प्रसन्न होता है
दोस्तों प्रभु राम के जीवन के बारे मे जब हम पढ़ते हैं ,तो हमें उनके चरित्र के बारे मे पता चलता है। और चरित्र से ही इंसान महान मन जाता है। कुल मिलाकर जब आप रामायण का पाठ करते हैं , तो फिर आपके मन को काफी अधिक प्रसन्नता मिलती है। और जब मन प्रसन्न होता है , तो हम काफी कुछ अच्छा कर पाते हैं। यह असल मे कोई ऐरी गैरी प्रसन्नता नहीं है , यह प्रसन्नता है , सच्ची और अच्छी प्रसन्नता है ,जोकि रियल मे हमें सुख प्रदान करने का काम करती है। सच्च के साथ जो प्रसन्नता आती है , वह अमर होती है।
रामायण के पाठ से सभी पापों का अंत हो जाता है
दोस्तों ऐसा माना जाता है , कि रामायण का पाठ करने से सभी पापों का अंत हो जाता है। हम जब इंसानी जीवन के अंदर होते हैं , तो जाने अनजाने के अंदर बहुत सारे पाप करते हैं , और यह पाप आमतौर पर हमारे उन्नति के अंदर बाधक होते हैं। इंसान की मुक्ति के लिए पापों का अंत होना काफी अधिक जरूरी होता है। हम इंसानों से पाप हुए बिना नहीं रह सकते हैं। इसलिए रामायण का पाठ करना चाहिए । रामायण का जब आप पाठ करेंगें तो धीरे धीरे आपने जो भी पाप किया है , उसका फल आपको नहीं मिलेगा । यहां पर कुछ लोगों को यह लग सकता है , कि दुष्ट लोगों के लिए यह एक अच्छा तरीका है। मगर दुष्ट लोग कब से रामायण का पाठ करने लगे ।
तुलसी दास ने एक दोहे के अंदर भी कहा है , कि जो रामायण का पाठ करता है , वह सभी तरह के पापों से मुक्त हो जाता है।
बुध बिश्राम सकल जन रंजनि। रामकथा कलि कलुष बिभंजनि॥
रामकथा कलि पंनग भरनी। पुनि बिबेक पावक कहुँ अरनी॥
कलयुग मे राम नाम ही आधार है
दोस्तों रामायण के अंदर यह भी उल्लेख मिलता है , कि कलयुग के अंदर राम नाम ही आधार होता है। कलयुग के अंदर सतयुग की तरह कोई कठोर तप नहीं सकता है , इसलिए सदैव राम नाम का ही जाप करना चाहिए । इसी से आपको फायदा मिलेगा । कलयुग के अंदर कठोर तप करने वाले दुर्लभ होते हैं । और अधिकतर आपको ढोंगी ही मिलेंगे । आप अधिक से अधिक राम नाम का जाप करें और अपने जीवन को उपर की तरफ लेकर जाएं , ताकि आपके सभी दुखों का अंत हो जाए ।
आपकी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं
दोस्तों यह भी माना जाता है , कि यदि आपकी कोई मनोकामना है , तो आपको रामायण का पाठ करना चाहिए । ऐसा करने से आपकी मनोकामनाएं पूर्ण हो जाती है। यदि आपकी कोई मनोकामना है , और पूर्ण नहीं हो रही है , तो आपको रोजाना रामायण का पाठ करना चाहिए । और भगवान से प्रार्थना करनी चाहिए ,कि जल्दी से जल्दी आपकी मनोकामना को पूर्ण करें । इस तरह से अधूरी मनोकामनाओं के लिए रामायण का पाठ करना फायदेमंद होता है। इसके अलावा आप अपने मनोरथ को पूर्ण करने के लिए भगवान का पूजा पाठ कर सकते हैं। उनका गुणगान कर सकते हैं। ऐसा करके भी आप भगवान को प्रसन्न किया जा सकता है।
मन को शांति मिलती है
यदि आप रामायण का पाठ करते हैं , तो इससे आपके मन को शांति मिलती है। आजकल आप देख ही रहे हैं , कि तनाव और डिप्रेशन की समस्या काफी आम होती है। क्योंकि यहां पर वर्क प्रेसर काफी अधिक होता है। और जब वर्क प्रेसर अधिक होता है , तो मन भी अशांत होता है। मगर जब आप रामायण का पाठ करते हैं , तो इससे आपके मन को सकून मिलता है ।और मन मे जो भी अशांत करने वाले विचार होते हैं , डिप्रेशन पैदा करने वाले विचार होते हैं , उनका असर कम हो जाता है। यदि आपको यकीन नहीं आता है , तो फिर आपको एक बार जरूर ही रामायण का पाठ करना चाहिए । आपको इस फायदे के बारे मे पता चल जाएगा ।
जीवन के अंदर सही आदर्श का पता चलता है
हर इंसान के जीवन के अंदर आदर्श होते हैं। लेकिन आजकल क्या है , कि हम दौ कोड़ी के लोगों को अपना आदर्श बना लेते हैं , और जब इस तरह के लोगों को अपना आदर्श बनाते हैं , तो फिर जीवन मे सिर्फ और सिर्फ पतन ही होता है। इसके अलावा कुछ भी नहीं होता है। इसलिए जब आप अपने घर के अंदर रामायण को पढ़े तो अपने बच्चों को इसके बारे मे बताएं । ताकि वे भगवान राम को अपना आदर्श मानें ताकि उनके अंदर अच्छे गुणों का विकास हो सके । अपने कमरे के अंदर भगवान राम की फोटो लगाएं ।
क्या आपने सोचा की हिंदु धर्म का पतन क्यों हो रहा है ? तो इसकी एक बड़ी वजह यही है , कि ये लेाग पैसा कमाने मे इतने अंधे हो चुके हैं , कि अपने मूल धर्म को भूल चुके हैं। वहीं यदि बात करें मुस्लिमों की तो वे भले ही कितने बड़े इंसान हो जाएं लेकिन धर्म उनसे कभी भी छोटा नहीं होता है। उनको अल्लाह के आग सर झुकाना है , तो झुकाना है। कुछ दिनों पहले हमारे घर पर एक डॉक्टर आया था ,जिसने कहा कि भगवान वैगरह कुछ नहीं होता है। , यह सब बकवास है। वह भी एक भटका हुआ हिंदू था । वहीं हमारे यहां पर एक बड़ा मुस्लिम डॉक्टर को हमने कई बार नमाज बढ़ते हुए देखा है ,तो यह बहुज ही बड़ा फर्क है।
रामायण पढ़ने से इंसान का बेड़ापार हो जाता है
दोस्तों रामायण के बारे मे तुलसी दास यह कहते हैं , कि जो रामायण का पाठ करता है , उसका बेड़ा पार हो जाता है। यहां पर बेड़ा पार होने का मतलब यह है , कि उसको मोक्ष की प्राप्ति होती है। यदि आप भी जीवन से थक चुके हैं । बार बार पैदा होना बार बार मर जाना , इन सब चीजों से यदि आप थक चुके हैं , तो फिर आपको रामायण का पाठ करना चाहिए । ऐसा करने से आपके पापों का अंत होगा । और आप मोक्ष को प्राप्त हो सकते हैं , तो जो साधक मोक्ष प्राप्त करने के इच्छुक हैं , उनको रामायण का पाठ करना चाहिए ।
निरोगी जीवन प्राप्त करना।
यह भी माना जाता है , कि यदि आप रामायण का पाठ करते हैं , तो इससे आपको निरोगी काया और जीवन मिलता है। यदि आप किसी बीमारी से लंबे समय से परेशान हैं , और वह बीमारी आपका पीछा नहीं छोड़ रही है , तो आपको रोजाना रामायण का पाठ करना चाहिए । जिससे कि धीरे धीरे वह बीमारी दूर होना शूरू हो जाएगी । यह एक अच्छा उपाय है , जिसका प्रयोग आप कर सकते हैं। आपके जीवन के जो दुख और दर्द बीमारी की वजह से होते हैं , वे कम हो जाते है । रामायण का पाठ आपको दिल से करना होगा । तभी आपको फायदा हो सकता है , नहीं तो कोई भी फायदा आपको नहीं मिल पाएगा ।
जीवन मे हर तरह के कष्टों का नाश करती है
रामायण के अंदर यह कहा गया है , कि राम कथा असुरों के समान जीवन के कष्ट का नाश करने वाली है। और हर तरह से कल्याण करने वाली है।और पापों से मुक्ति प्रदान करते हुए । इंसानों को कल्याण का मार्ग दिखानें का काम करती है। यदि आपके जीवन मे तरह तरह के कष्ट आते हैं तो उन तरह तरह के कष्टों को दूर करने के लिए आपको रामायण का पाठ करना चाहिए । ऐसा करने से आपके जीवन के कष्ट दूर हो जाते हैं। और आपका परम कल्याण हो जाता है।
सुख और समृद्धि प्राप्त करना
दोस्तो माना जाता है , कि रामायण का पाठ करने से जीवन के अंदर सुख और समृद्धि आती है। यदि आपके जीवन के अंदर इनकी कमी है , आप बहुत कुछ कर चुके हैं , उसके बाद भी यदि आपको किसी तरह का सुख प्राप्त नहीं हो रहा है , तो फिर आपको रोजाना रामायण का पाठ करना चाहिए ।और ऐसा करने के बाद आपके जीवन के समस्त दुख दूर हो जाएंगे । और आपका कल्याण होने का मार्ग प्रशस्त हो जाएगा । वैसे भी हम जीवन के अंदर जो कुछ भी करते हैं , उसको सुख प्राप्त करने के लिए ही तो करते हैं। यदि जीवन मे सुख नहीं मिलता है , तो फिर हम काफी अधिक परेशान हो जाते हैं।
अंदर के कचरे को साफ करती है
रामायण का पाठ करना अंदर के कचरे को साफ करने का काम करता है। आप शरीर के कचरे को तो बहुत ही आसानी से साफ कर लेते हैं , क्योंकि आप रोजाना नहाते हैं , लेकिन उससे भी अधिक महत्वपूर्ण होता है , अंदर का कचरा । रामायण का पाठ करने से अंदर का कचरा साफ होता है। आपने अंदर जो बुरी चीजों को भरकर रखा हुआ है , वह सब रामायण का पाठ करने से साफ होने लग जाती हैं। आपको बाहर का कचरा तो बस कुछ ही समय तक परेशान करता है , मगर अंदर का जो कचरा होता है , वह आपको काफी अधिक परेशान करने का काम करता है , यदि आप भी चाहते हैं कि आपके अंदर की शुद्धि अच्छी तरह से हो जाए , तो इसके लिए आपको रामायण का पाठ करना चाहिए । आपके अंदर की बुराइयां जब तक दूर नहीं होंगी , तब तक आपके कल्याण का मार्ग प्रशस्त नहीं हो सकता है। इसलिए अंदर की बुराइयों पर ध्यान देने की जरूरत है।
अंदर की खुशी मिलती है
रामायण का पाठ करने से अंदर की खुशी मिलती है। यहां पर अंदर की खुशी का मतलब यह होता है , कि आपको अंदर से खुशी प्राप्त होना काफी जरूरी है। जब आपके पास अंदर से संपूर्णता होती है , तभी तो आपका भटकाव कम होता है। अक्सर यह कहा जाता है , कि आपको अपने अंदर इतना अधिक आनन्द विकसित करना होगा , आपको बाहर के आनन्द की तलाश करने की जरूरत ही ना पड़े । और अपने अंदर यदि आप आनन्द को विकसित करने मे कामयाब हो जाते हैं , तो फिर आपका परम कल्याण हो जाता है। असल मे हम बाहर के सुख के मारे ही तो घूम रहे हैं। जिस दिन आपको अंदर के सुख के बारे मे पता चल जाएगा , उसी दिन से आपको सच्चा अनुभव प्राप्त होगा । तो रामायण का पाठ करने से अंदर की खुशी मिलती है।
अधर्म पर धर्म की विजय का संदेश मिलता है
याद रखें राम ने कभी भी रावण को अपना दुश्मन नहीं माना था ।और राम ने यह कहा था , कि यह युद्ध अधर्म पर धर्म पर विजय है। रावण ने वैसे भी अधर्म का काम ही किया था । और राम की पत्नी सीता को हर लाये थे । इस तरह से किसी की स्त्री को हरना पाप और बुरा कर्म माना गया है। रामायण का पाठ इस बात का संदेश देता है , कि आपको धर्म के लिए लड़ना चाहिए । यदि आपके साथ कोई गलत कर रहा है , तो आपको उसका विरोध करना चाहिए। इस तरह से नहीं होना चाहिए , कि आप चुपचाप बैठ जाएं और सामने वाला आपके उपर हावी होता चला जाए ।
सत्य के मार्ग पर चलने का संदेश
दोस्तों रामायण के अंदर राम उम्र भर सत्य के मार्ग पर चलते रहे । उनके सामने अनेक समस्याएं आईं । लेकिन उसके बाद भी कभी उन्होंने सत्य के मार्ग को नहीं छोड़ा । रामायण हमें इस बात का संदेश देती है , कि हम सदैव ही सत्य के मार्ग पर चले चाहे कितनी की बाधाएं आएं । लेकिन सत्य का मार्ग कभी भी ना छोड़ें।
स्त्री का आदर और सम्मान सीखाती है रामायण
दोस्तों रामायण स्त्री के आदर और सम्मान के बारे मे भी हमें सीखाती है। कहा जाता है कि भगवान राम की पत्नी से कभी भी भाई लक्ष्मण नजर मिलाकर बात नहीं करते थे । वे जब भी माता सीता के सामने जाते थे , तब नजरे हमेशा ही नीची करके ही जाते थे । इसी तरह से राम ने लंका को जीतने के बाद भी वहां की महिलाओं को किसी तरह का बुरा बर्ताव नहीं किया । और यही तो उनकी महानता था । रावण को मारने के बाद उनका राज्य उन्हीं को वापस कर दिया ।
भगवान राम की कृपा प्राप्त होती है
भगवान राम को यदि प्रसन्न करना चाहते हैं , तो आपको रोजाना रामायण का पाठ करना चाहिए । ऐसा करने से भगवान राम प्रसन्न होते हैं , और उनकी कृपा आपको मिलती है। यह एक बहुत ही अच्छा उपाय। अक्सर भगवान राम के भगत उनको प्रसन्न करने के लिए राम नाम का जाप और रामायण का पाठ करते हैं।
रामायण पढ़ने के फायदे ramayan padhne ke labh के बारे मे हमने जाना उम्मीद करते हैं कि आपको लेख अच्छा लगा होगा ।
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This post was last modified on December 17, 2023