transgender kya hota hai , transgender matlab , ट्रांसजेंडर क्या होता है transgender का नाम आपने भी सुना ही होगा transgender और हिंजड़ा शब्द के बारे मे आप अच्छी तरह से जानते ही हैं। असल मे transgender और हिंजड़ा दोनो अलग अलग होते हैं। लेकिन अधिकतर लोगों को यही लगता है कि यह दोनो एक ही हैं। लेकिन ऐसा नहीं है। हिंजड़ा या छक्का का मतलब होता है वह इंसान जिसके नीजी अंग ना तो पूरी तरह से विकसित होते हैं और वह ना महिला ही होता है और ना ही पुरूष होता है। यह सब देखने मे होता है। हालांकि यह transgender से अलग होता है इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । हिंजड़ा अपने लिंग के अंदर बदलाव कम ही चांस के अंदर करवाते हैं क्योंकि लिंग मे बदलाव करवाना एक तरह से जटिल प्रक्रिया होती है और इसके अंदर काफी अधिक पैसा भी खर्च होता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।transgender मे ऐसा नहीं होता है। transgender जैसा कि नाम से ही स्पष्ट है जेंडर को ट्रांसफर करवाना जैसे कि यदि किसी इंसान को यह एहसास होता है कि वह एक महिला है
और उसका शरीर पुरूष पुरूष का होता है। वह अपने लिंग से संतुष्ट नहीं हो पाता है तो इस तरह के इंसान को transgender के तौर पर देख सकते हैं। उसके बाद वह अपने शरीर के निजी अंगों के अंदर बदलाव करवाता है और उसके बाद एक महिला बना जाता है। इसी प्रकार से एक महिला जिसको यह लगता है कि वह एक पुरूष है और उसे नेचर ने गलत अंग दिया है तो वह अपने शरीर के अंदर अंगों को बदलती है और हार्मोन आदि की मदद से पुरूष बन जाती है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।transgender का मतलब तो आप अब समझ ही गए होंगे । हालांकि transgender के अंदर हिंजड़े वाले गुण भी हो सकते हैं लेकिन यह भी हो सकता है कि उनके अंग पूरी तरह से
विकसित हो आपको इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं।transgender को आमतौर पर किसी भी जगह पर सम्मान से नहीं देखा जाता है और उसे काफी अलग जाना जाता है। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं। यही आपके लिए सबसे अधिक सही होता है।
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transgender kya hota hai और यह कितने प्रकार के होते हैं ?
दोस्तों transgender की यदि हम बात करें तो यह मुख्य तौर पर दो प्रकार का होता है। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए । तो आइए जानते हैं इसके प्रकार के बारे मे विस्तार से transgender की परिभाषा के बारे मे हम आपको बता ही चुके हैं तो आप समझ ही गए होंगे कि transgender क्या होते हैं ?
- Male Transgender FTM इसका मतलब यह है कि वह इंसान एक महिला के तौर पर पैदा हुई थी लेकिन उसको एक पुरूष के तौर पर पहचाना जाता है। इस तरह के लोग अपने नीजी अंगों को बदलवा लेते हैं और पुरूष बन जाते हैं ।
- Female Transgender उसे कहते हैं जोकि एक पुरूष के रूप मे पैदा हुई थी लेकिन उसके बाद उसने अपने अंगों को बदलवाया या फिर उसको एक महिला के तौर पर पहचाना जाता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।
इस तरह से आप समझ ही गए होंगे कि Transgender का मतलब क्या होता है। और हालांकि यह जरूरी नहीं होता है कि हर Transgender लिंग को बदलावदें । लेकिन उनकी कोशिश यही होती है कि वे अपने अंगों को बदलदें । हालांकि उनके अंग विकसित भी हो सकते हैं। भारतीय संस्कृति और न्यायपालिका तीसरे लिंग को मान्यता देती है। इन्हें हिजड़ा कहा जाता है। भारत में, 15 अप्रैल, 2014 को सुप्रीम कोर्ट ने एक तीसरे लिंग को मान्यता दी, जो न तो पुरुष है और न ही महिला।
Transgender के लक्षण
दोस्तों Transgender के लक्षण का मतलब यह है कि कुछ ऐसे संकेत जिसकी वजह से आप यह कह सकते हैं कि इंसान Transgender है। हालांकि उस इंसान को इस बात का पहले ही एहसास हो जाता है कि वह Transgender है । और उसके बाद ऐसे कई सारे लक्षण प्रकट होते हैं जिनसे Transgender का पता चल जाता है। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं। यही आपके लिए सही होगा ।
Transgender जो बच्चा होता है उसका पता जन्म से ही लग जाता है। हालांकि आजकल गुडियों से सिर्फ बच्ची ही नहीं खेलती हैं वरन लड़के भी खेलते हैं तो यह सब कॉमन हो चुका है। लेकिन यदि आपके लड़के अंदर सिर्फ गुडियां से ही खेलने जैसे गुण हैं तो यह Transgender होने का संकेत हो सकता है। और वैसे तो आप अच्छी तरह से जानते ही हैं कि Transgender एक तरह से माता पिता को काफी परेशान करने वाला होता है। और कोई भी माता पिता यह नहीं चाहेगा कि आपका बच्चा ट्रांसजेंडर हो जाए ।इसलिए बच्चे के Transgender होने के बारे मे कुछ लक्षण बता रहें हैं।
विपरित लिंगी के लोगों के साथ रहना अधिक पसंद
दोस्तों Transgender बच्चों की खास बात यह होती है कि यह अपने विपरित लिंगी बच्चों के साथ रहना अधिक पसंद करते हैं क्योंकि उनको लगता है कि उनका असली रूप यही है। जैसे कि आपका बच्चा एक लड़की के रूप मे पैदा हुआ है तो बचपन से ही उसे लड़कों के साथ रहना काफी अधिक पसंद आएगा । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । उसे इसके अंदर काफी आनन्द का एहसास होगा । और आपका लड़का यह कह भी सकता है कि उसे लड़के काफी पसंद हैं। वह लड़कियों के साथ नहीं जाना चाहता है या फिर खेलना चाहता है। इसके अलावा यदि आपका बच्चा एक लड़के के रूप मे पैदा हुआ है और Transgender है तो वह लड़कियों के साथ रहना पसंद करेगा । और उसको लड़के पसंद नहीं आएंगे । यह एक बहुत ही कॉमन बात है यदि ऐसा बार बार हो रहा है तो इसका मतलब बच्चा Transgender है। आप आसानी से समझ सकते हैं।
विपरित लिंग की आकांक्षा
दोस्तों इसका मतलब यह है कि आप अपने बच्चे पर ध्यानदें । यदि वह शरीर से एक लड़की है और कई बार यह कहता है कि काश वह एक लड़का होता तो कितना अच्छा होता है ? इसी तरह की भावनाएं यदि वह आपके सामने प्रकट कर रहा है तो इसका मतलब यही है कि हो सकता है कि आपका बच्चा Transgender हो । हालांकि यह भी हो सकता है कि वह एक दो बार ऐसे ही कहदे । लेकिन बार बार ऐसा कहना इसी बात का संकेत देता है। इसके अलावा अन्य कई तरह के लक्षण भी प्रकट होने लग जाते हैं जोकि आपके लिए भी एक तरह से चिंता का विषय हो सकता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । Transgender लोग अपने वर्तमान लिंग से संतुष्ट नहीं होते हैं यही कारण है कि वे बार बार अपने दूसरे लिंग के अंदर खुद को बदलने के बारे मे विचार करते हैं और उसकी तरफ आकर्षित होते हैं।
विपरित लिंगी जैसी ड्रेस को अधिक पसंद करना
दोस्तों यदि Transgender बच्चा है तो वह अपने वर्तमान की ड्रेस जोकि उसके माता पिता उसे पहनाते हैं उसको बिल्कुल भी पसंद नहीं करते हैं। वह अपने विपरित लिंगी की ड्रेस को काफी अधिक पसंद करते हैं। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । जैसे कि आपका बेटा Transgender है तो वह लड़कियों वाले कपड़े काफी अधिक पसंद करेगा । और खुद को लड़कियों से मिलते हुए कपड़े पहनेगा। इसी प्रकार से यदि लड़की है तो वह हमेशा ही लड़के जैसे कपड़े पहनना काफी अधिक पसंद करेगा । ऐसे मे आप आसानी से यह पहचान सकते हैं कि आपका बेटा Transgender है। अक्सर जो बड़े बच्चे हो जाते हैं और जो Transgender होते हैं वे इस तरह से सबके सामने डर के चलते कपड़े नहीं पहनते हैं। लेकिन जब वे अकेले होते हैं तब इसी तरह के कपड़े पहनते हैं। और खुद को उस जेंडर का साबित करने की कोशिश करते हैं जिस तरह के वे हैं।
Transgender विपरित लिंगी की तरह ही बातें करते हैं
दोस्तों यदि बच्चे या बड़े Transgender हैं तो वे अपने विपरित लिंगी की तरह बातें ही नहीं करेंगे वरन उनका व्यवहार भी उसी प्रकार का हो जाएगा । इस तरह के गुण कई लड़कों के अंदर देखने को मिलते हैं। जो पूरी तरह से लड़के हैं लेकिन दिखने और बात करने मे लड़की की तरह दिखते हैं। Transgender यदि शरीर से लड़का है तो वह खुद को एक लड़की की तरह पेश करेगा । और उसी तरह से बात करेगा जिस तरह से एक लड़की बात करती है। और उसके यदि आप शरीर के हाव भाव को देखेगे तो आसानी से आपको पता चल जाएगा कि वह एक लड़की की तरह व्यवहार कर रहा है।
Transgender यदि एक शरीर से लड़की है तो वह खुद को एक लड़के की तरह दिखाने की कोशिश करेगी । और उसी प्रकार से बात करने की कोशिश करेगा जिस तरह से एक लड़का बात करता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । यदि आप ऐसा कुछ देखते हैं तो आपको समझ जाना चाहिए कि बच्चा Transgender है।
अन्य जेंडर के रूप मे खुद को संतुष्ट देखना
Transgender जो लोग होते हैं वे खुद को एक दूसरे जेंडर के रूप मे देखकर काफी अधिक खुश होते हैं। उनको ऐसा करने से मानसिक संतोष मिलता है। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए । इसी प्रकार से जैसे कि आप शरीर से एक पुरूष हैं तो आप खुद को महिला के रूप मे देखते हैं इसके लिए आप महिला के कपड़े पहन सकते हैं और उसके बाद आपको मानसिक संतोष मिलता है। आपको यही लगता है कि आपका असली जेंडर यही है और आपको एक गलत जेंडर देदिया गया है। ऐसी स्थिति के अंदर आप समझ सकते हैं कि आप एक Transgender हैं।
Transgender इंसान की यही एक बड़ी खास बात होती है कि यह लोग अपने आप को विपरित लिंगी के रूप मे दिखाते हैं तो इनको काफी अधिक संतोष मिलता है।
विपरित लिंगी की तरह पेशाब करना और टॉयलेट का उपयोग करना
दोस्तों Transgender की एक खास बात यह होती है कि इनको अपने विपरित लिंगी की तरह सब कुछ करने की आदत होती है। जैसे कि यह लोग पेशाब को अपने विपरित लिंगी की तरह करने की कोशिश करते हैं। जैसे कि एक महिला शरीर से है तो वह खुद को पुरूष की तरह पेशाब करने की कोशिश कर सही है। इसी प्रकार से एक शरीर से पुरूष महिला की तरह पेशाब करने की कोशिश कर सकता है। यह सब यह लोग इसलिए करते हैं क्योंकि इनको लगता है कि उनका जेंडर किसी वजह से गलत बना दिया गया है।
Transgender के लक्षण लिंग को बदलने की इच्छा
दोस्तों Transgender की सबसे बड़ी खास बात यह होती है कि इनको अपना लिंग बदलने की इच्छा भी होती है। कारण यह है कि यह मानसिक रूप से दूसरे लिंग को पसंद करते हैं लेकिन शारीरिक रूप से यह दूसरे लिंग के होते हैं। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए । और आजकल मेडिकल साइंस ने भी अच्छी प्रगति करली हैं। जो लोग ट्रांसजेंडर हैं वे खुद को ऑपरेशन के द्धारा दूसरे लिंग के इंसान के अंदर बदल सकते हैं और उसके बाद पूरी तरह से उसी इंसान की तरह हो जाते हैं। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।
हालांकि इस तरह के लोग जो महिला बन जाते हैं वे बच्चा पैदा नहीं कर सकते हैं। लेकिन अन्य सभी चीजों को कर सकते हैं। हालांकि इसके बारे मे मुझे अधिक जानकारी नहीं है। इसके बारे मे पता होना चाहिए ।
Transgender लोग कई घटनाएं सामने आती है जिसके अंदर लड़की या लड़की अपना लिंग बदलवा लेते हैं और उसके बाद अपना नाम भी बदल लेते हैं और समाज के अंदर एक नए नाम से रहने लग जाते हैं । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । हालांकि इस तरह के लोगों को समाज के अंदर अच्छी नजरों से नहीं देखा जाता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप समझ सकते हैं।
Transgender लोगों को यह सब करने से काफी अधिक मानसिक संतुष्टि मिलती है । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । यही आपके लिए सही होगा । और आप समझ सकते हैं।
Transgender के लक्षणों के बारे मे आप अच्छी तरह से जानते हैं। और आप समझ सकते हैं कि Transgender के लक्षण क्या क्या होते हैं।
Transgender कितनी संख्या मे हैं भारत के अंदर
दोस्तों यदि हम बात करते हैं Transgender की तो भारत के अंदर सन 2011 की जनगणना के अनुसार 4.8 मिलियन भारतीयों की पहचान ट्रांसजेंडर के रूप में हुई है। हालांकि ट्रांसजेंडर की संख्या अभी काफी अधिक हो चुकी है। और इसके इतने अधिक आंकड़े भी नहीं हैं। Transgender लोगों के बारे मे अधिक जानकारी नहीं है। यह बात आप भी जानते हैं। क्योंकि अधिकतर लोग अपनी इस पहचान को छुपाकर रखते हैं और किसी को भी बताना नहीं चाहते हैं आप इस बात को अच्छी तरह से समझ सकते हैं। और यही आपके लिए सही होगा ।
लिंग और जेंडर के अंदर क्या अंतर है
दोस्तों लिंग और जेंडर दो अलग अलग चीजे होती हैं। असल मे आपको जो प्रकृति से प्राप्त होता है । उसको हम लिंग के नाम से जानते हैं। जिसके अंदर कोई पुरूष हो सकता है और कोई महिला हो सकती है। लिंग को बदला जा सकता है। लेकिन जेंडर एक व्यापक चीज होती है। जेंडर का मतलब यह होता है कि आप किस लिंग के हैं। आपको इसके अंदर लिंग को चुनना होता है। मतलब यदि आप अपने लिंग को बदल लेते हैं तो आप अलग प्रकार के बन जाते हैं।
क्या ट्रांसजेंडर लोग हमेशा से मौजूद रहे हैं?
हां ट्रांसजेंडर लोग हमेशा से ही मौजूद रहे हैं इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए । सिर्फ आज ही ट्रांसजेंडर पैदा नहीं होते हैं। वरन पुराने जमाने के अंदर भी यह सब होते थे । लेकिन उस समय मे सर्जरी की इतनी अधिक विकसित तकनीक नहीं थी । ऐसी स्थिति के अंदर ट्रांसजेंडर काफी होते थे लेकिन वे अपना लिंग को नहीं बदलवा पाते थे । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । लेकिन अब सब कुछ बदल चुका है। आज इस तरह की तकनीक बन चुकी है कि आसानी से लिंग को बदलवाया जा सकता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।
कुछ लोग ट्रांसजेंडर क्यों होते हैं?
दोस्तों आपके दिमाग मे भी यह सवाल आता होगा कि कुछ लोग ट्रांसजेंडर क्यों होते हैं तो इसके कई सारे कारण हो सकते हैं। 11 साल के बाद अधिकतर केस के अंदर ट्रांसजेंडर की अभिव्यक्ति हो सकती है। इसके अंदर कई सारे कारक जो होते हैं वे अपना योगदान देते हैं। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं। यही आपके लिए सबसे अधिक अच्छी चीज होगी ।कई विशेषज्ञों का मानना है कि जैविक कारक जैसे आनुवंशिक प्रभाव और प्रसवपूर्व हार्मोन का स्तर, प्रारंभिक अनुभव और बाद में किशोरावस्था या वयस्कता में अनुभव सभी ट्रांसजेंडर पहचान के विकास में योगदान कर सकते हैं।
लिंग पहचान और यौन अभिविन्यास के बीच क्या संबंध है?
दोस्तों यदि हम बात करें लिंग की तो लिंग वह होता है जोकि उसे जन्म के समय ही मिलता है।
इसके अंदर वह पुरूष और महिला हो सकता है और यौन अभिविन्यास का मतलब यह होता है कि वह किस की तरफ आकर्षित होता है। यदि हम ट्रांसजेंडर की बात करें तो वह आमतौर पर समलैंगिक, समलैंगिक, उभयलिंगी या अलैंगिक हो सकते हैं । जैंसे एक व्यक्ति जन्म से एक महिला था और बाद मे वह पुरूष बन गया और उसके बाद भी वह पुरूष की तरफ आकर्षित होता है तो यह समलैंगिक होता है। इसी तरह से अन्य क्रियाएं होती हैं। यह व्यक्ति की मानसिक स्थिति के उपर निर्भर करता है। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं। यही आपके लिए सबसे अधिक सही होगा आप समझ सकते हैं।
एक व्यक्ति जिसे जन्म के समय पुरुष सौंपा गया है और महिला को संक्रमण किया गया है, जो अन्य महिलाओं के प्रति आकर्षित होता है उसे समलैंगिक या समलैंगिक महिला के रूप में पहचाना जाएगा।
किसी को कैसे पता चलेगा कि वे ट्रांसजेंडर हैं?
ट्रांसजेंडर के पहचान के बारे मे हम आपको पहले से ही बता चुके हैं। इसके कई सारे लक्षण दिये गए हैं। आप उन लक्षणेां को देख सकते हैं और उसके बाद यह पता लगा सकते हैं कि ट्रांसजेंडर कौन है ? इसी तरह से ट्रांसजेंडर लोगों की सबसे बड़ी खास बात यह होती है कि यह अपने लिंग से संतुष्ट नहीं होते हैं इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए । और बाकि आप लक्षणों के बारे मे जान सकते हैं इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं।
माता-पिता को क्या करना चाहिए यदि उनका बच्चा ट्रांसजेंडर या लिंग गैर-अनुरूपता प्रतीत होता है?
दोस्तों यदि माता पिता को यह पता चलता है कि उनको बच्चा ट्रांसजेंडर है तो यह काफी समस्या पैदा कर सकता है। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए । मतलब यही है कि इस तरह के बच्चे की समाज के अंदर अनुमति नहीं होती है। और समाज के लोग भी उसे पसंद नहीं करते हैं। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए । इसलिए यदि माता पिता को यह लगता है कि उनका बच्चा ट्रांसजेंडर है तो फिर आपको यह करना चाहिए कि आप किसी मनोवैज्ञानिक के पास जाएं और इसके बारे मे टेस्ट करवाएं और फिर आपको जो निर्देश आपका डॉक्टर देता है आपको उन निर्देश का पालन करना चाहिए यही आपके लिए सही होगा आप इस बात को समझ सकते हैं। इस तरह से ट्रांसजेंडर बच्चे के लिए विशेष देखभाल की आवश्यकता होती है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं।
ट्रांसजेंडर व्यक्ति लिंग परिवर्तन कैसे करते हैं?
ट्रांसजेंडर व्यक्तियों के अंदर जो लिंग का बदलाव होता है वह ऑपरेशन के द्धारा किया जाता है और इसके लिए एक अनुभवी डॉक्टर की आवश्यकता होती है। इसके बारे मे आपको अच्व्छी तरह से पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं। इसके अलावा लिंग का बदलाव करने से पहले किसी मनोवैज्ञानिक के पास संपर्क करना होता है वह उस ट्रांसजेंडर इंसान के कुछ टेस्ट करता है और उसके बाद वह इसके लिए पत्र प्रदान करता है उसके बाद ही लिंग का बदलाव किया जाता है। क्योंकि ऐसा यदि नहीं किया जाता है तो यह एक तरह से समस्या बन सकता है।
हालांकि भारत के अंदर इस तरह की प्रक्रिया होती है या फिर नहीं होती है। इसके बारे मे हमे जानकारी नहीं है। लेकिन कई देशों के अंदर इस तरह की प्रक्रियाएं मौजूद होती हैं इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए ।
क्या ट्रांसजेंडर होना एक मानसिक विकार है?
दोस्तों इस संबंध मे दो तरह के मत प्रचलित हैं। कुछ वैज्ञानिकों का यह मानना है कि यह एक प्रकार का मानसिक विकार है और इसको लिंग डिस्फोरिया कह सकते हैं। असल मे इसके अंदर व्यक्ति अपने लिंग को लेकर काफी अधिक विसंगति के अंदर होता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । हालांकि इसके अंदर व्यक्ति लिंग काम करता है वह किसी भी तरह से असक्षम नहीं होता है। लेकिन उसके शरीर के अंदर किसी तरह का हार्मोन परिवर्तन या फिर किसी अन्य वजहों से यह विचार पैदा होता है। जोकि उसके लिए काफी समस्या पैदा करता है और उसे यह लगता है कि वह अपने वर्तमान स्वरूप से संतुष्ठ नहीं है।
ट्रांसजेंडर लोगों को किस तरह के भेदभाव का सामना करना पड़ता है?
दोस्तों एक समाज के अंदर ट्रांसजेंडर होना बहुत ही डेंजर होता है। भले ही कानून इसकी इजाजत नहीं देता है। लेकिन होता ऐसा ही है। असल मे ट्रांसजेंडर इंसान को हर जगहों पर भेदभाव का सामना करना पड़ता है। लगभग 6,500 ट्रांसजेंडर लोगों के नमूने में से, रिपोर्ट में पाया गया कि ट्रांसजेंडर लोगों को रोजगार, आवास, स्वास्थ्य देखभाल, शिक्षा, कानूनी व्यवस्था और यहां तक कि उनके परिवारों में भी उच्च स्तर के भेदभाव का अनुभव होता है।
इस तरह से जब ट्रांसजेंडर लोग कहीं पर जाते हैं तो उनको एक अलग ही तरह का भेदभाव का सामना करना पड़ता है इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए । कारण यह है कि लोग उनको अच्छा नहीं मानते हैं और यही वजह है कि उनको शिक्षा और कार्यस्थल आदि पर काफी अधिक भेदभाव का सामना करना पड़ता है इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं।
top transgender in india
दोस्तों इंडिया के अंदर भी ट्रांसजेंडर लोगों की कमी नहीं है तो लेख के अंत मे हम आपको कुछ ऐसे ट्रांसजेंडर से मिलवाते हैं जिन्होंने अपने जीवन के अंदर अच्छे मुकाम को हाशिल किया है तो आइए जानते हैं उन ट्रांसजेंडर के बारे मे विस्तार से ।
Naaz Joshi
Naaz Joshi का जन्म 31 दिसंबर 1984 को नई दिल्ली भारत में हुआ था। और यह एक पहली ट्रांसजेंडर महिला है।देखने पर भी यह आपको किसी भी एंगल से पुरूष नजर नहीं आता है। जोशी ने लगातार तीन बार मिस वर्ल्ड डायवर्सिटी ब्यूटी पेजेंट जीता है। और वह भारत की पहली ट्रांसजेंडर कवर मॉडल है इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।वह सिजेंडर महिलाओं के साथ एक अंतरराष्ट्रीय सौंदर्य प्रतियोगिता जीतने वाली दुनिया की पहली ट्रांस महिला भी है।
उनका जन्म नाज़ी जोशी एक मुस्लिम माँ और एक हिंदू पंजाबी पिता के यहाँ हुआ था। 7 साल की कम उम्र में, उसके परिवार ने उसे उसके स्त्री व्यवहार के लिए समाज के ताने से बचने के लिए मुंबई में एक दूर के रिश्तेदार के पास भेज दिया। और उसके बाद उन्होंने अपने जीवन को चलाने के लिए एक बार मे भी काम किया । उसके नेशनल इंस्टीट्यूट ऑफ फैशन टेक्नोलॉजी (निफ्ट) में दाखिला लिया और फैशन डिजाइन में अपनी औपचारिक पढ़ाई पूरी की । और उसके बाद उन्होंने 18 साल की उम्र मे अपने चचेरे भाई विवेक बाबाजी से मुलाकात की और वहां पर फैसन डिजाइनी के बारे मे जानकारी हाशिल की ।
और आपको यह भी बतादें कि जोशी ने अपने लिंग को बदलवाने के लिए अपनी देह को बेचने का काम भी किया था। और यहां तक कि उनकी बुकिंग को होटल ने रद भी कर दिया था। इसके अलावा उसकी दो बेटियां हैं जोकि उससे पैदा नहीं हुई हैं वरन उनको गोद लिया गया है। एक बेटी को तो किसी ने कचरे मे फेंक दिया था उसके बाद उसने उसे पाला था। इसके अलावा आपको बतादें कि इनकी शादी नहीं हुई है। यह एक लड़के के साथ रिलेशन मे थी लेकिन ट्रांसजेंडर होने की वजह से लड़कें ने शादी करने से मना कर दिया । क्योंकि भारत के अंदर इस तरह की शादी को मान्यता नहीं दी जाती है। आपको इसके बारे मे भी पता होना चाहिए ।
जोशी ने पहली बार 2017 में मिस वर्ल्ड डायवर्सिटी का खिताब जीता और अगले साल अपना खिताब बरकरार रखा। इसके बाद वह 2019 में लगातार तीसरे वर्ष खिताब जीतने वाली पहली ट्रांस महिला बनीं। इस जीत ने उन्हें सिजेंडर महिलाओं के खिलाफ अंतरराष्ट्रीय ताज जीतने वाली दुनिया की पहली ट्रांसजेंडर व्यक्ति भी बना दिया।
इस तरह से जोशी की कहानी को देखने के बाद आपको पता चलता है कि भारत के अंदर एक ट्रांसजेंडर का जीवन किस तरह का होता है। असल मे ट्रांसजेंडर इंसान को समाज के अंदर भी नहीं रहने दिया जाता है और उसे हर जगह पर तानों का सामना करना पड़ता है। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।
गौरी सावंत मुंबई , भारत की एक ट्रांसजेंडर कार्यकर्ता हैं । वह सखी चार चौघी की निदेशक हैं जो ट्रांसजेंडर लोगों और एचआईवी / एड्स वाले लोगों की मदद करती है ।सावंत का जन्म गणेश के रूप में हुआ और उनका पालन-पोषण पुणे में हुआ। और उनकी मां की मौत हो चुकी थी और उसने 18 साल की उम्र मे अपना घर छोड़ दिया था क्योंकि वह अपने पिता को निराश नहीं करना चाहती थी। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।गौरी ने 2000 में सखी चार चौघी ट्रस्ट की स्थापना की। और यह महिला वही थी जिसने ट्रांसजेंडर लोगों के लिए काम किया और इसको एक तीसरे लिंग के रूप मे मान्यता दिलाई इसके बारे मे भी आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए ।आपको बतादें कि गौरी ने एक जिस्म बेचने वाली महिला की एक बेटी गोद ली थी जिसका कोई नहीं था वह इसे पालती है। और बेहतर जीवन देने का प्रयास कर रही है। आप समझ सकते हैं।
जिस तरह से अन्य ट्रांसजेंडर के साथ होता है उसी तरह से गौरी के साथ भी हुआ । क्योंकि भारत मे हमेशा से ही ट्रांसजेंडर भेदभाव का शिकार रहे हैं इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए ।
Kalki Subramaniam
कल्कि सुब्रमण्यम तमिलनाडु की एक ट्रांसजेंडर अधिकार कार्यकर्ता , कलाकार, अभिनेत्री, लेखक, प्रेरणादायक वक्ता और उद्यमी हैं ।यदि हम इनके जन्म की बात करें तो इनका जन्म तमिलनाडु के एक कस्बे पोलाची के अंदर हुआ था। और यह एक गरीब परिवार से आती हैं। लेकिन अपनी पढ़ाई के दौरान अपनी कक्षा के अंदर टॉप करती थी आपको इसके बारे मे पता होना चाहिए। कल्कि के पास दो मास्टर डिग्री हैं: मास्टर्स इन जर्नलिज्म मास कम्युनिकेशन और मास्टर्स इन इंटरनेशनल रिलेशंस हैं। और इन्होंने ट्रांसजेंडर महिलाओं के लिए तमिल के अंदर एक मासिक पत्रिका भी प्रकाशित करनी शूरू की थी।
2005 से, कल्कि ने भारत में ट्रांसजेंडर अधिकारों के लिए अभियान चलाया है। और इन्होंने ट्रांसजेंडर महिलाओं के लिए काफी कुछ किया है। ट्रांसजेंडर के अधिकारों को दिलाने मे यह काफी अधिक भूमिका मे रही है इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए ।और सन 2009 ई के अंदर एक वैवाहिक वेब ने ट्रांसजेंडर लोगों का विवाह का विज्ञापन देने से इंकार कर दिया तो उसके बाद इन्होंने खुद ही ट्रांसजेंडर लोगों के विवाह के लिए काफी कुछ काम किया था। इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए ।2008 में, कल्कि ने सहोदरी फाउंडेशन की स्थापना की, जो एक संगठन है जो भारत में ट्रांसजेंडर लोगों की वकालत करता है ।
और यह उन लोगों को प्रशिक्षण देने का काम करता है जोंकि ट्रांसजेंडर हैं और उनके अंदर कमाने योग्य कौशल को विकसित करता है इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।
2011 में, कल्कि ने एक तमिल फिल्म, नार्थगी में मुख्य भूमिका निभाई , जो ट्रांसजेंडर लोगों के जीवन पर केंद्रित थी ।इसके अलावा भी इन्होंने कई सारी फिल्मों के अंदर काम किया । इसके बारे मे आपको अच्छी तरह से पता होना चाहिए और आप समझ सकते हैं।
कला और सक्रियता पर बोलने के लिए इनको कनाड़ा और यूएस के अंदर आमंत्रित किया गया था। इनकी कलाकृतियां काफी जीवंत मानी जाती हैं इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।2016 में, सुब्रमण्यम ने एक क्राउडफंडिंग अभियान के माध्यम से अपनी पेंटिंग बेचीं और उसके बाद अनेक ट्रांसजेंडर महिलाओं के लिए काम किया ।
इसके अलावा ट्रांसजेंडर महिलाओं के खिलाफ होने वाली यौन हिंसा को रोकने के लिए कई तरह के अभियान चलाएं जिसके अंदर देश की ट्रासंजेंडर महिलाओं ने काफी बढ़़ चढ़ कर हिस्सा लिया था।
2018 में, कविता संग्रह कुरी अरुथीन से उनकी तीन कविताओं का जर्मन भाषा में अनुवाद किया गया और एक कला पत्रिका में प्रकाशित किया गया। और इन्होंने कई सारी कविताएं लिखी हैं जिनका अनुवाद जर्मन भाषा के अंदर प्रकाशित हो चुका है। इनके द्धारा लिखी जाने वाली कविताएं अनेक पत्र और पत्रिकाओं के अंदर प्रकाशित हो चुकी हैं इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए । और आप समझ सकते हैं
Laxmi Narayan Tripathi
Laxmi Narayan Tripathi भी एक ट्रांसजेंडर महिला हैं इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए यह एक बॉलीवुड अभिनेत्री, भरतनाट्यम नर्तक, कोरियोग्राफर और प्रेरक वक्ता हैं इनका जन्म 13 दिसंबर 1978 ई के अंदर मुम्बई के ठाणें के अंदर हुआ था। इन्होंने ट्रांसजेंडर महिलाओं के लिए काफी अधिक काम किया और कहा
कि हमारे साथ हर इंसान को मानविय होना चाहिए और एक अच्छा व्यवहार करना चाहिए । इसके अलावा हमारे अधिकारों पर भी विचार करना चाहिए । वह 2011 में लोकप्रिय रियलिटी शो बिग बॉस में एक प्रतियोगी थीं। उनके प्रयासों ने पहली ट्रांसजेंडर टीम को 2020 में हिमालय की चोटी (मैत्री शिखर) पर चढ़ने में मदद की।
Laxmi Narayan Tripathi की यदि हम बात करें तो यह एक महिला के रूप मे पैदा नहीं हुई थी वरन यह एक पुरूष के रूप मे पैदा हुई थी। और समलैंगिक थी। इसके अलावा इन्होंने मुम्बई से ही शिक्षा प्राप्त की थी।न्होंने मुंबई के मीठीबाई कॉलेज से कला की डिग्री और भरतनाट्यम में स्नातकोत्तर की डिग्री हासिल की ।
और जब यह 5 वीं कक्षा के अंदर थी तभी इन्होंने अपने लिए एक समलैंगिक व्यक्ति की तलास करली थी। भारत में पहली पीएचडी ट्रांस छात्र शबीरा से मिली और उसके बाद हिंजड़ों के समुदाय से मिल गई और वहां पर एक बार डांसर का काम करने लगी । हालांकि बार डांसर को सरकार ने बाद मे बंद कर दिया था।
2002 में वह एनजीओ डीएआई वेलफेयर सोसाइटी की अध्यक्ष बनीं, जो दक्षिण एशिया में किन्नरों के लिए पहली पंजीकृत और काम करने वाली संस्था थी। 2007 में उन्होंने अपना खुद का संगठन भी बनाया था।पहले भारत के अंदर समलैंगिकता अपराध के अंदर आता था लेकिन बाद मे इसके खिलाफ अपील मे भी इस महिला ने सहयोग दिया और उसके बाद न्यायलय ने सरकार को आदेश दिया कि वह इस संबंध मे कानून बनाएं और ट्रांसजेंडर लोगों भी अन्य लोगों की तरह अधिकार प्रदान करें । और उसके बाद भारत के अंदर ट्रांसजेंडर को एक तीसरे जेंडर के रूप मे मान्यता प्रदान करदी गई ।
इसके अलावा आपको बतादें कि इन्होनें दो बच्चों को गोद लेलिया है। और यह एक तरह से बहुत ही अच्छी बात है। तो आप समझ पाएं एक ट्रांसजेंडर महिला की कहानी के बारे मे विस्तार से ।
Sathyasri Sharmila
शर्मिला तमिलनाडु की पहली ट्रांसजेंडर वकील हैं । और इन्होंने सन 2007 ई के अंदर अपनी कानून की डिग्री को पूरा किया था। और अब यह अपने समुदाय के लोगों के लिए काम कर रही हैं और उनके केस को कोर्ट के अंदर हेंडल करती हैं।अपने समुदाय के खिलाफ होनें वाले अत्याचारों के खिलाफ यह काम करती हैं इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।
मनाबी बंद्योपाध्याय का जन्म पश्चिम बंगाल के नैहाटी में एक शिक्षित परिवार में माता-पिता चित्तरंजन बंद्योपाध्याय और रीमा बंद्योपाध्याय के घर हुआ था। वह भारत में पहली पीएचडी प्रोफेसर हैं जो एक ट्रांसजेंडर व्यक्ति के रूप में अपनी पहचान को स्वीकार करती हैं। और काफी लंबे समय तक लड़ाई लड़ने के बाद एक तीसरे लिंग की मान्यता मिलने के बाद वे एक कॉलेज की प्रिसिंपल बन गई थी। इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।हालांकि उनको यह पद आसानी से नहीं मिला । लेकिन उसके बाद पश्चिम बंगाल के मुख्यमंत्री के हस्तक्षेप की वजह से ही यह संभव हो पाया था। आपको बतादें कि इन्होनें कई सारी किताबे भी लिखी हैं जिसके अंदर अपने प्रिंसिपल बनने तक के बारे मे जो भी समस्याएं आई उनके बारे विस्तार से बताया गया है।
Padmini Prakash
पद्मिनी का जन्म तमिलनाडु के कोयंबटूर में एक रूढ़िवादी तमिल परिवार में हुआ था । और मात्र 13 साल की उम्र मे ही उनके परिवार ने उनको अस्वीकार कर दिया था। उसके बाद उन्होंने सुसाइड करने का प्रयास भी किया लेकिन कुछ लोगों ने उनको बचा लिया था। उसके बाद उसने अपनी स्कूली शिक्षा पूरी की और वाणिज्य में स्नातक की डिग्री के लिए दूरस्थ शिक्षा पत्राचार पाठ्यक्रम के लिए आवेदन किया लेकिन यहां पर भी उनके साथ भेदभाव किया गया । उसके बाद नागराज प्रकाश से उन्होंने शादी करली जोकि उनके बचपन के मित्र थे । उसके बाद उन्होंने एक पुत्र को भी गोद लेलिया था।15 अगस्त 2014 को, भारत के स्वतंत्रता दिवस पर, पद्मिनी ने तमिल चैनल लोटस न्यूज चैनल पर शाम 7 बजे समाचार बुलेटिन की मेजबानी की, एक टेलीविजन समाचार एंकर बनने वाली पहली भारतीय ट्रांस महिला बनीं। इसके अलावा आपको यह भी बतादें कि इस महिला नें काफी कुछ काम किया और कुछ टीवी शों के अंदर भी काम किया था।
Prathika Yashini
के पृथिका यशिनी भारत में पुलिस अधिकारी बनने वाली पहली ट्रांसजेंडर महिला हैं। दोस्तों आपको बतादें कि यह तमिलनाडू के अंदर रहने वाली महिला है। पृथिका यशिनी का जन्म और पालन-पोषण (मृत नाम) प्रदीप कुमार के रूप में हुआ। और पहले उनको सब कुछ ठीक करने के लिए अनेक तरह के ज्योतिषियों के पास लेकर जाया गया लेकिन इससे कोई फायदा नहीं हुआ । क्योंकि उसका जन्म लड़के के रूप मे हुआ था लेकिन वह खुद को एक लड़की के रूप मे महसूस करती थी।
उसके बाद उन्होंने चेन्नई के अंदर एक वार्डन के रूप मे काम किया था।यशिनी ने 1087 पदों के लिए रिक्त पदों को भरने के लिए तमिलनाडु यूनिफ़ॉर्मड सर्विसेज रिक्रूटमेंट बोर्ड (TNUSRB) में पुलिस सब-इंस्पेक्टर के रूप में भर्ती के लिए आवेदन किया । लेकिन जेंडर अलग होने की वजह से उनके आवेदन को खारिज कर दिया लेकिन बाद मे उन्होंने इस मामले को मद्रास हाईकोर्ट के अंदर चुनौती दी गई ।और बाद मे कोर्ट के आदेश के बाद उनको परीक्षा देने की अनुमति मिली । फिर यशिनी को अप्रैल 2017 में चेन्नई शहर के पुलिस आयुक्त स्मिथ सरन से नियुक्ति आदेश मिला।
Joyita Mondal
जोइता मंडल पहली बंगाली ट्रांस महिला हैं, जो एक सिविल कोर्ट के न्यायिक पैनल की सदस्य और पश्चिम बंगाल , भारत की एक सामाजिक कार्यकर्ता थीं ।और 10 वीं कक्षा पास करने के बाद उनको काफी भेदभाव का सामना करना पड़ा और फिर घर को छोड़ दिया फिर भीख मांगने लगी ।
वह उत्तर दिनाजपुर जिले के इस्लामपुर चली गईं और ट्रांसजेंडर समुदाय के उत्थान के लिए काम किया। और उसके बाद उन्होंने खुद के और अपने लोगों के कल्याण के लिए एक संगठन का निर्माण किया था।8 जुलाई, 2017 को, 29 वर्षीय मंडल भारत के पश्चिम बंगाल से एक लोक अदालत की पहली ट्रांसजेंडर जज बनीं ।
Nitasha Biswas
Nitasha Biswas बारे मे आपको बतादें कि वह पश्चिम बंगाल से आती है। उनके परिवार ने उनको बचपन मे ही छोड़ दिया था। और उसके बाद भी उनकों अपने सपनों को पूरा करने मे किसी तरह की दिक्कत नहीं आई थी।हार्मोन रिप्लेसमेंट थेरेपी (एचआरटी) से गुजरने के दौरान उसके पास कोई नहीं था, जो किसी भी व्यक्ति के लिए मानसिक और शारीरिक रूप से तनावपूर्ण है। और उसके बाद इन्होंने एक फिल्म उधोग के अंदर काम किया था। और यहां पर एक सौंदर्य कलाकार के रूप मे काम किया था। इसके अलावा इन्होनें सौदर्य प्रतियोगिता भी जीती थी।
उन्होंने मिस इंटरनेशनल क्वीन और मिस ट्रांस ऑस्ट्रेलिया 2019 में भारत का प्रतिनिधित्व किया।
Shabnam Bano
सार्वजनिक कार्यालय (एमएलए) के लिए चुनी जाने वाली पहली ट्रांसजेंडर भारतीय हैं। वह 1998 से 2003 तक मध्य प्रदेश राज्य विधान सभा की निर्वाचित सदस्य थीं।और इन्होंने मात्र 2 साल तक स्कुली शिक्षा प्राप्त की और दुनिया की 12 भाषाएं इन्होंने सीखी थी।
शबनम मौसी मध्य प्रदेश राज्य के शहडोल-अनूपपुर जिले के सोहागपुर निर्वाचन क्षेत्र से चुनी गईं । और उसके बाद इन्होंने टांसजेंडर लोगों के लिए काफी अधिक काम किया था। उनकी भूख मरी और उत्पीडन के खिलाफ काफी अधिक कार्य किया था।
शबनम मौसी ने भारत में कई ट्रांसजेंडर लोगों को राजनीति में आने और भारत में ‘मुख्यधारा की गतिविधियों’ में भाग लेने के लिए प्रेरित किया, भारतीय समाज के किनारे पर रहने वाले नर्तकियों, वेश्याओं और भिखारियों के रूप में अपनी पारंपरिक भूमिकाएं छोड़ दीं।
Jeeti Jitayi Politics (JJP) नामक एक पार्टी की इन्होंने स्थापना भी की थी। जिसके अंदर कई ट्रासंजेंडर महिलाओं को इस पार्टी के अंदर आमंत्रित किया है।
2005 में, उनके जीवन के बारे में शबनम मौसी पर भी एक फिल्म बनी थी । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।
Anjali Ameer
अंजलि अमीर ने ममूटी-स्टारर तमिल फिल्म पेरानबू में अपने प्रदर्शन के माध्यम से फिल्म प्रेमियों का दिल जीत लिया और यह एक ट्रांसजेंडर महिला है जोकि मलयालम फिल्म के अंदर नजर आएंगी ।निर्देशक देवप्रसाद नारायणन की आने वाली फिल्म बर्नार्ड में, जिसमें शीर्षक चरित्र में सरथ अप्पानी के अंदर उन्होंने एक पत्नी की भूमिका निभाई थी । इसके बारे मे आपको पता होना चाहिए ।अंजलि एक रूढ़िवादी और रूढ़िवादी मुस्लिम परिवार से ताल्लुक रखती हैं और उन्हें अभिनय करियर बनाने से पहले घर से भागना पड़ा।
इस तरह से इस लेख के अंदर हमने ट्रांसजेंडर लोगों के बारे मे विस्तार से जाना और उनके जीवन के अंदर किन समस्याओं का सामना करना पड़ा था। उसके बारे मे हमने विस्तार से जाना है। उम्मीद करते हैं कि आपको यह लेख पसंद आया होगा । दोस्तों जैसा कि आपने जाना कि ट्रासंजेंडर होना एक दुर्भाग्य की तरह ही होता है क्योंकि कोई भी नहीं चाहता है कि एक इंसान ट्रांसजेंडर बनें । और एक परिवार के अंदर ट्रांसजेंडर का होना उस परिवार के लिए समस्या होती है। इसी वजह से अधिकतर ट्रांसजेंडर लोगों को अपना घर छोड़ना पड़ा क्योंकि इस तरह से तीसरे लिंग को समाज स्वीकार नहीं करता है।
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This post was last modified on August 1, 2022