किंग जिलेट रेजर के आविष्कारक थे । उनका जन्म अमेरिका के अंदर हुआ था। उन्होने शिक्षा भी अधिक प्राप्त नहीं थी। सैल्समैन के रूप मे उन्होने काम शूरू किया था।
1895 के अंदर जब वह दाड़ी बना रहा था तो उसे एक ब्लेड बनाने का विचार आया और वह तुरन्त बाजार गया वहां से हथोड़ा छीनी । आदि औजार खरीद लाया और लोहे को कूट कूट कर ब्लेड बनाने मे लग गया । काफी कठिन मेहनत करने के बाद भी उसे सफलता नहीं मिली ।
सन 1904 के अंदर उसे सफलता मिली । तब उसने अपने आविष्कार का पेटेंट करवाया था। लेकिन उसने जो आविष्कार किया था । वह सही नहीं था । उसे बेचना भी आसान काम नहीं था। लेकिन उसने हिम्मत नहीं हारी और निरंतर परिक्ष्रम करता रहा ।
लोहे के बारे मे जानकारी हासिल करने के लिए उसने कई लोगों से संपर्क किया और अपने आईडिए के बारे मे बताया किंतु सभी लोगो ने उसको निराश किया और बोले वो जो कर रहा है। वह कभी सफल नहीं हो सकता । वह महज एक कल्पना है जिसको हकिकत मे बदलना नामुमकिन है। लेकिन किंग जेलेट निराश नहीं हुआ ।
किंतु कुछ सालों बाद उसे वे लोग मिल गए जोकि उसके आविष्कार के लिए पैसा खर्च करने को तैयार हो गए । सन 1901 के अंदर कुछ पैसे लगाकर अमेरिकी सेफटी रेजर कम्पनी खोली किंतु कम्पनी कर्ज के अंदर डूब गई तो किंग जेलेट को कंपनी के पद से स्तीफा देना पड़ा । हांलाकि वे ब्लेड के आकार के अंदर सुधार करने मे कामयाब रहे ।
किंतु किंग जेलेट हार मानने वालो मे से नहीं थे । उसके बाद उसने अपने मित्र को कम्पनी के अंदर पैसा लगाने को राजी कर लिया । और खुद कम्पनी के सिईओ बन गए । उसके बाद उनकी कम्पनी को काफी मुनाफा हुआ । तो कई लोग कम्पनी मे पैसा लगाने को तैयार हो गए ।
सच है कि दुनिया को नया कुछ वेही लोग दे सकते हैं जिनको खुद पर भरोसा होता है। और वे दुसरे लोगों के बहकावे मे नहीं आते हैं। क्योंकि यदि आप नया करते हैं तो आपको लीक से हटकर चलना होता है।
और ऐसा करते हुए दूसरे लोग आपको पागल कहेंगे । किंतु तब जब आप सफल होंगे तब वो आपकी जयजय कार करेंगे । यही
इस प्रकार किंग जेलेट के एक छोटे से विचार की वजह से जेलेट रेजर और ब्लेड का जन्म हुआ । जरा सोचिए कि यदि किंग जेलेट हमारी तरह निराश होकर बेठ जाते । हार मानलते तो क्या वे रेजर का और ब्लेड का आविष्कार कर पाते ।